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Q. अनुच्छेद 35a की व्याख्या करते हुए जम्मू कश्मीर के संबंध में यह बताएं कि इसमें कौन-कौन से प्रावधान किए गए थे।

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  • भारतीय संविधान के अनुसार अनुच्छेद 35a एक समझौते का परिणाम है जो 1950 में जम्मू कश्मीर के प्रधानमंत्री जो उस समय मुख्यमंत्री को ही कहते थे शेख अब्दुल्ला और भारत के प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के बीच हुआ था इसे दिल्ली एग्रीमेंट भी कहा जाता है दिल्ली के इस एग्रीमेंट के द्वारा जम्मू कश्मीर में नागरिकता राज्य सूची का विषय कर दिया गया यानी कि हम भारत के लोग वहां बदलकर हम जम्मू कश्मीर के लोग हो गया इससे कई समस्याएं आना शुरू हो गई 1954 ईस्वी में राष्ट्रपति ने भारतीय संविधान में अनुच्छेद 35a जोड़ दिया राष्ट्रपति किसके द्वारा अनुच्छेद 370 के एक में का के अंतर्गत यह बताया कि राष्ट्रपति को यह अधिकार दिया जाता है कि जम्मू कश्मीर के राज्य विषय के लाभ के लिए संविधान में विशेष संशोधन कर सकते हैं और नए तत्व को जोड़ भी सकते हैं इसी कारण से 1954 ईस्वी में 35a जोड़ दिया गया इसके प्रमुख इस प्रकार से हैं
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  • इसके द्वारा जम्मू-कश्मीर विधानसभा को यह अधिकार दिया गया था कि वह राज्य की स्थाई नागरिकता अपने अनुसार तय करें यानी कि कौन-कौन लोग जम्मू कश्मीर के स्थाई नागरिक होंगे कौन नहीं होंगे ,अब यह संसद तय नहीं करेगी बल्कि जम्मू कश्मीर की विधानसभा करेगी
  • जम्मू कश्मीर विधानसभा को राज्य के नागरिक को परिभाषित करने का तो अधिकार मिल ही गया इसके साथ सार्वजनिक क्षेत्र की नौकरी में भी एक विशेष अधिकार दे दिया गया ।राज्य के संपत्ति के अधिग्रहण का विशेष अधिकार मिल गया ।छात्रवृत्ति और अन्य संहिता प्रदान करने का भी विशेष अधिकार दिया गया। इसके द्वारा जम्मू कश्मीर की सरकार यह तय करेगी कि किस व्यक्ति को यहां नौकरी दिया जाए किसे नहीं दिया जाए, किस व्यक्ति को यहां संपत्ति खरीदने दिया जाए किसे नहीं दिया जाए और इसी कारण से विवाद बढ़ता हुआ चला गया
  • इसमें यह भी प्रावधान था कि अगर कोई भी चीज कानून का उल्लंघन माना जाता है और यह विधायिका का निर्णय है तो फिर इसे चुनौती नहीं दे सकते हैं यानी कि विधानमंडल ने कोई फैसला ले लिया तो उसे बदला नहीं जाएगा इसे ऐसे ही रहने दिया जाएगा।vinayiasacademy.com
  • इसमें यह भी प्रावधान दिया गया था कि कोई भी नागरिक जम्मू कश्मीर में संपत्ति ना तो खरीद सकता था और ना ही वहां का स्थाई नागरिक बन सकता था वह वहां पढ़ने जा सकता था भारत में रहते हुए भी यह भारत के अलग देश के जैसा यहां के कानून को बनाने की कोशिश की गई थी।
  • इसके अनुसार जम्मू-कश्मीर की कोई भी महिला अगर जम्मू कश्मीर से बाहर जाकर शादी कर लेती है तो उसके बच्चे को जम्मू-कश्मीर का स्थाई निवासी नहीं माना जाएगा और ना ही वह भविष्य में बन सकता है उस महिला का अधिकार भी जम्मू-कश्मीर में समाप्त हो जाता था इसलिए इसे काला कानून भी कहा जाएगा।
  • अनुच्छेद 35a को लेकर विवाद तो चलता ही रहा इसकी समीक्षा के लिए सर्वोच्च न्यायालय में कई विशेष याचिका दाखिल की गई थी ,कई याचिकाएं लंबित हैं। लेकिन अगस्त 2019 में राष्ट्रपति द्वारा एक आदेश जारी करके अनुच्छेद 35a अनुच्छेद 370 तथा जम्मू-कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा को समाप्त कर दिया गया ,इसके बाद संसद ने भी एक विधेयक पारित करके सभी अनुच्छेद को समाप्त कर दिया गया जम्मू कश्मीर को 2 केंद्र शासित प्रदेश लद्दाख और जम्मू कश्मीर में विभाजित कर दिया इसके साथ ही 1954 ईस्वी से चला आ रहा विवाद हमेशा के लिए समाप्त हो गया।
  • जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 35 ए अनुच्छेद 370 हट जाने के बाद क्या प्रभाव पड़ेगा- या अनुच्छेद के हट जाने के बाद जम्मू कश्मीर में पूंजी निवेश बढ़ जाएगी भारत के सभी प्रांत के लोग जम्मू-कश्मीर में जाकर बस सकते हैं जम्मू कश्मीर में शहरीकरण और औद्योगिकीकरण का तीव्र विकास होगा जिसके कारण कश्मीर से जो लोग बाहर चले गए थे उन्हें फिर वापस आने का अधिकार मिल पाएगा जम्मू कश्मीर में कई स्कूल कॉलेज एवं उद्योग धंधे का भी विकास होगा
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